26 मई 2021 बुधवार “सौम्यवासरे” का पंचांग “ऋषिकेश पंचांग (काशी) अनुसार” जानिए, लग्न सारणी, आज के विशेष योग व वास्तु शास्त्र से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारियाँ

26 मई 2021 बुधवार “सौम्यवासरे” का पंचांग “ऋषिकेश पंचांग (काशी) अनुसार” जानिए, लग्न सारणी, आज के विशेष योग व वास्तु शास्त्र से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारियाँ

 

आज का पंचांग

आज का पंचांग

 

दिनांक:- 26 मई 2021
वार:- बुधवार (सौम्यवासरे)
तिथि:- पूर्णिमा दिन ०४:५६ तक तदोपरांत प्रतिपदा
पक्ष:- शुक्ल पक्ष दिन ०४:५६ तक तदोपरांत कृष्ण पक्ष
माह:- वैशाख
गोल:- उत्तर
नक्षत्र:- अनुराधा रात्रि ०२:२० तक तदोपरांत ज्येष्ठा
योग:- शिव रात्रि १२:०० तक तदोपरांत सिद्ध
करण:- विष्टि उपरांत बव
सूर्य:- वृषभ
सूर्य स्पष्ट:- १०°३८’१८”
चंद्रमा:- वृश्चिक
अयन:- उत्तरायण
सूर्योदय:-०५:१८ (काशी)
सूर्योदय:-०५:२९ (दिल्ली)
सूर्योदय:- ०५:३८ (सालासर)
सूर्यास्त:- ०६:४२ (काशी)
सूर्यास्त:- ०७:०७ (दिल्ली)
सूर्यास्त:- ०७:१८ (सालासर)
दिनमान:- ३३:३० (काशी)
दिशा शूल:- उत्तर
निवारण उपाय:- तिल का सेवन
ऋतु:- ग्रीष्म ऋतु
गुलिक काल:- १०:३० से १२:००
राहु काल:- १२:०० से १३:३०
अभिजीत मुहर्त:- नही है।
विक्रम संवत:- २०७८
संवत्सर नाम:- आनंद
शक संवत:- १९४३
युगाब्ध:- ५१२३

 

 

लग्न सारणी समाप्ति समय (दिन)

वृषभ लग्न:- ०६:३१ तक
मिथुन लग्न:- ०८:४५ तक
कर्क लग्न:- ११:०३ तक
सिंह लग्न:- ०१:१७ तक
कन्या लग्न:- ०३:३० तक
तुला लग्न:- ०५:४६ तक

 

लग्न सारणी समाप्ति समय (रात्रि)

वृश्चिक लग्न:- ०८:०३ तक
धनु लग्न:- १०:०९ तक
मकर लग्न:- ११:५६ तक
कुंभ लग्न:- ०१:२७ तक
मीन लग्न:- ०२:५५ तक
मेष लग्न:- ०५:३२ तक

 

बुद्ध पूर्णिमा सूर्योदयकालीन कुंडली व सुत्योदयकालीन सूर्यादि नवग्रह स्पष्ट

बुद्ध पूर्णिमा सूर्योदयकालीन कुंडली व सुत्योदयकालीन सूर्यादि नवग्रह स्पष्ट

 

चौघड़िया दिन

लाभ:- ०५:३६ से ०७:२१
अमृत:- ०७:२७ से ०९:०४
शुभ:- १०:४७ से १२:३०
चंचल:- १५:५६ से १७:३९
लाभ:- १७:३९ से १९:१८

 

चौघड़िया रात

शुभ:- २०:३५ से २१:५२
अमृत:- २१:५२ से २३:०९
चंचल:- २३:०९ से ००:२६
लाभ:- ०३:०० से ०४:१७

 

आज के विशेष योग

वर्ष का ४४ वाँ दिन, भद्रा प्रातः ०७:२४ तक, स्नान-दान-व्रत की पूर्णिमा, बुद्ध पूर्णिमा, बुद्ध जयंती, पुष्करा देवी जन्म, कूर्म जयंती, मृत्युबाण समाप्ति दिन ०२:२२ तक, सर्वार्थ व अमृतसिद्धि योग रात्रि ०२:२० तक, वैशाखी पीपल पूनम (स्वम् सिद्ध अबूझ मुहर्त), सत्यपूर्णिमा व्रत।

 

वास्तु टिप्स

मुख्य द्वार के सामने मंदिर नही होना चाहिए इससे घर में रहने वाले लोगों की प्रगति रुक जाती है।

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