मकर लग्न और आप: जानिए, मकर लग्न वालों का व्यक्तित्व

मकर लग्न और आप: जानिए, मकर लग्न वालों का व्यक्तित्व

 

मकर लग्न वालों का व्यक्तित्व

मकर लग्न वालों का व्यक्तित्व

 

मकर लग्न काल पुरुष के क्रम स्थान की राशि का लग्न होता है जिसके स्वामी शनि होते हैं अतः मकर लग्न वाले व्यक्ति सदैव क्रियाशील रहते हैं कहने का आशय यह है ऐसे व्यक्ति एक जगह खाली नही बैठते, मकर लग्न वालों जा स्वभाव थोड़ा रूखा होता है साथ ही इनके शरीर का निचला अर्ध भाग कुछ दुबला होता है तथा इन्हें कफ प्रकृति की समस्याएं प्रायः बनी ही रहती है, मकर लग्न वाले व्यक्ति बड़े उत्साही, परिश्रमी, खुले तौर से अपने विचार व्यक्त करने वाले, मिजाज के शक्की, कुछ अहंकारी व कभी-कभी भयक्रांत हो जाने वाले, पुण्य कर्मों में सदैव तत्पर, ईश्वर के प्रति असीम आस्था और अपने आश्रितों से कार्य लेने वाले होते हैं, मकर लग्न के व्यक्ति प्रत्येक कार्य बड़ी सावधानी तथा विचार कर करते है, अपने मित्र मंडली में प्रमुख बने रहने की इच्छा रखने वाले व अपनी ख्याति हेतु सदैव प्रयत्नशील रहते हैं, मकर लग्न वाले पुरुष प्रायः स्त्री वर्ग से दुःखी ही रहते हैं तथा प्रायः दुःख भोगते हैं और किसी-किसी अवसर में दानशील भी होते हैं।

 

मकर लग्न की व्यक्ति यदि महिला हैं तो उपरोक्त गुणों के अतिरिक्त धार्मिक, सत्य प्रिया, विचारशीला, मितव्ययी, सुविख्यात, शत्रु रहिता तथा बहु पुत्रों वाली होती है, मकर लग्न वाले व्यक्तियों को चर्म रोग प्रायः दुःखी करता है तथा ठंडे पदार्थों के सेवन को सीमित मात्रा में करना चाहिए और अपने भोजन आदि व व्यायाम का सदैव ध्यान रखना चाहिए, मकर लग्न वालों के लिए शुक्र और बुध उत्तम फल देने वाले ग्रह होते हैं इनमे भी शुक्र विशेष शुभफलदाई होता है तथा राजयोगकारक ग्रह होने के कारण से राज योग तुल्य सुख प्रदान करता है, शुक्र और बुध का कुंडली में संबंध राजयोग समान फल देता है, बृहस्पति और चंद्रमा शुभ फल नही देते यह दोनों मारकेश भी होते हैं, शनि मारक ग्रह होकर भी मृत्यु नही देता, सूर्य भी मारक नही होता तथा सूर्य के साधारण फल मिलते हैं, यदि मकर लग्न वालों की कुंडली के लग्न में मंगल व सप्तम में चंद्र हो तो यह राजयोग होता है जिससे व्यक्ति अनेक प्रकार के सुखों को भोगता है परंतु यदि अष्टम भाव में बुध व लग्न में गुरु हो और उस पर शुक्र की दृष्टि न हो तो व्यक्ति का स्वास्थ्य तो अच्छा रहता है किंतु व्यक्ति स्वम् दरिद्र होता है, मकर का नवमांश रहने से व्यक्ति में प्राकृतिक गुणों का पूर्ण विकास होता है।

 

जय श्री राम।

 

Astrologer:- Pooshark Jetly

Astrology Sutras (Astro Walk Of Hope)

Mobile:- 9919367470, 7007245896

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